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Thursday, January 2, 2025, 6:15 pm

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स्वस्थ समाज और देश के उज्ज्वल भविष्य के लिए गर्भ संस्कार आज की आवश्यकता- डाॅ. वार्ष्णेय 

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प्रोटोकॉल तैयार कर गर्भ संस्कार को जननी स्वास्थ्य कार्यक्रम में शामिल करना श्रेयस्कर : प्रो. प्रजापति

गर्भ संस्कार पर आरोग्य भारती की दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला का हुआ शुभारंभ

राइजिंग भास्कर डॉट कॉम. जोधपुर

आधुनिक विज्ञान से यह पुष्ट हुआ है कि गर्भावस्था के समय वैदिक गर्भ संस्कार जैसी विशिष्ट प्रक्रियाओं के प्रयोग से स्वस्थ, गुणी और संस्कारवान संतान को प्राप्त किया जा सकता है, जिससे भविष्य में परिवार एवं समाज में बीमारी और बुराई का अस्तित्व मिटाया जा सकता है।” ये उद्गार आरोग्य भारती के राष्ट्रीय संगठन महासचिव डाo अशोक वार्ष्णेय ने दो दिवसीय गर्भ संस्कार राष्ट्रीय कार्यशाला के उद्घाटन समारोह में व्यक्त किए। उन्होंने वर्तमान में बिगड़ते सामाजिक माहौल को रेखांकित करते हुए आव्हान किया कि भविष्य के श्रेष्ठ समाज और राष्ट्र के निर्माण के लिए वैदिक ज्ञान और गर्भ संस्कार जैसी अनुपम वैज्ञानिक परंपराओं को हमारे पारिवारिक और सामाजिक जीवन में पुनः जीवन्त करना चाहिए। समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित करते हुए डाo सर्वपल्ली राधाकृष्णन राजस्थान आयुर्वेद विश्वविद्यालय जोधपुर के कुलपति प्रोo वैद्य प्रदीप कुमार प्रजापति ने कहा कि वेदों और आयुर्वेद के प्राचीन ग्रंथों में निहित ज्ञान-विज्ञान को आज वैश्विक स्वीकार्यता मिल रही है, अतः गर्भ संस्कार के वैज्ञानिक महत्त्व का समाज और हैल्थ केयर सिस्टम में व्यापक रूप में प्रचारित करना और इसको जननी स्वास्थ्य कार्यक्रम में शामिल किया जाना अत्यन्त श्रेयस्कर होगा। उन्होंने गर्भ संस्कार का प्रोटोकॉल तैयार कर विस्तृत योजना बनाने की आवश्यकता जताई। अनुबन्ध वृद्धाश्रम की संस्थापिका अनुराधा आडवाणी ने समारोह की अध्यक्षता करते हुए अपने संबोधन में कहा कि गर्भ संस्कार की इस अभूतपूर्व कार्यशाला का आयोजन सूर्यनगरी जोधपुर में होना गर्व की बात है। उन्होंने कहा कि परिवार, समाज और देश के उत्थान में योग्य और समर्थ नागरिकों का महत्त्वपूर्ण योगदान रहता है, अतः गर्भ संस्कार के द्वारा अच्छे संस्कारों से युक्त संतान की प्राप्ति की जाकर श्रेष्ठ नागरिकों का निर्माण किया जा सकता है। लघु उद्योग भारती के सभा भवन में आयोजित इस समारोह में आरोग्य भारती के राष्ट्रीय सचिव डॉo प्रशांत कुमार गुप्ता( नई दिल्ली), गर्भ संस्कार प्रकल्प की राष्ट्रीय प्रभारी एवं राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य
श्रीमती डाoमधुरा कुलकर्णी ( मुम्बई) और सुश्री मनिंदरजीत कौर( चंडीगढ) विशिष्ट अतिथि थे। कार्यक्रम के प्रारम्भ में महानगर महिला सहप्रमुख
डॉo मोनिका वर्मा ने धनवंतरि स्तवन किया l प्रान्त कार्याध्यक्ष प्रोo प्रेम प्रकाश व्यास ने स्वागत उद्बोधन तथा प्रान्त सचिव डाo देशदीपक ने अतिथियों का परिचय प्रस्तुत कियाl प्रान्त अध्यक्ष बृज किशोर माथुर ने सभी अतिथियों को पुष्प गुच्छ एवं दुपट्टा पहनाकर अभिनंदन किया। मुख्य वक्ता डाo
अशोक वार्ष्णेय ने अपने संबोधन में कहा कि वर्तमान समय में गर्भावस्था बहुत ही जटिल प्रक्रिया हो गई है, जो कि हमारी संस्कृति और जीवन का एक महत्त्वपूर्ण पड़ाव हैl इस गर्भावस्था से पूर्व और गर्भावस्था के दौरान भी बहुत सी बातों का ध्यान रखते हुए हम शिशु को गर्भकाल में ही सुसंस्कारित कर सकते हैं l हमारी प्राचीन सभ्यता में यह बातें विशेष तौर पर ध्यान रखी जाती थी और वह बहुत ही सरल और स्वाभाविक रूप से गर्भ संस्कार और बच्चे का जन्म होता था। वर्तमान समय में जीवनशैली की जटिलताओं ने और मेडिकल व्यवसायिकता ने गर्भावस्था को जटिल बना दिया हैl आने वाली पीढ़ी को समझना होगा या आने वाली पीढ़ी तक यह ज्ञान पहुंचना बहुत आवश्यक है कि गर्भकाल में वातावरण, माता-पिता की मनोवृत्तियां, आहार विहार इत्यादि गर्भस्थ शिशु के मन मस्तिष्क पर गहरा प्रभाव डालते हैं l इन सभी महत्त्वपूर्ण मुद्दों पर इस कार्यशाला के दौरान विस्तृत चर्चा होगी। अध्यक्षा
श्रीमती अनुराधा आडवाणी ने अपने संबोधन में आगे कहा कि कुछ साल पहले तक बच्चों का जन्म बहुत ही सरल प्रक्रिया में हो जाता था और हमारे संस्कार हमारी जीवन शैली उसे सरल बनाए रखी हुई थी वर्तमान समय में महिलाओं का गर्भ धारण करना भी मुश्किल होता जा रहा है। अतिथियों द्वारा समारोह में ‘गर्भ संस्कार’ पुस्तक का विमोचन किया गया। इस पुस्तक का लेखन प्रोo प्रेम प्रकाश व्यास, डाo रश्मि शर्मा, डाo मोनिका वर्मा, डाo हेमंत मेनारिया तथा डाo अशोक यादव ने किया है। कार्यक्रम का संचालन एडवोकेट संजय कपूर ने किया तथा धन्यवाद ज्ञापन प्रोo गोविंद गुप्ता ने किया। इस राष्ट्रीय कार्यशाला में विभिन्न प्रान्तों के लगभग 125 प्रतिनिधि भाग ले रहे हैं। आज कार्यशाला में डाo मधुरा कुलकर्णी (मुंबई), प्रोo प्रतिभा सिंह (एम्स जोधपुर) के व्याख्यान आयोजित हुए। मीडिया प्रभारी प्रियंका झाबक ने बताया कि कल 3 सितम्बर को प्रातः गायत्री परिवार के साथ गर्भ संस्कार यज्ञ का आयोजन होगा जिसमें जोधपुर की गर्भवती महिलाएं भाग लेंगी।

Rising Bhaskar
Author: Rising Bhaskar


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