आचार्य रामेश की प्रेरणा से उनके सान्निध्य में हुआ दीक्षा कार्यक्रम
शिव वर्मा. जोधपुर
श्री साधुमार्गी जैन परंपरा के राष्ट्रीय संत आचार्य रामेश की प्रेरणा से उनके सान्निध्य में देश भर में निरन्तर सांसारिक आत्माएं सांसारिक जीवन त्याग कर साधु जीवन अपनाने को अग्रसर होती जा रही हैं। अपने आचार्य पद काल में उनके द्वारा 7 अक्टूबर को प्रदान की गयी 6 जैन भागवती दीक्षा के पश्चात् अब तक उनके द्वारा 411 मुमुक्षु आत्माओं को दीक्षा प्रदान की जा चुकी हैं। कल दोपहर डेढ़ बजे आचार्य रामेश ने अपने मुखारबिंद से ‘करेमि भंते’ के पाठ से मारवाड़ की धर्म नगरी जोधपुर के शेरगढ़ तहसील के केतु कलां गांव की बेटी मुमुक्षु करुणा गुलेच्छा के साथ-साथ अन्य 5 और चारित्र आत्माओं को दीक्षा प्रदान की। इन 6 दीक्षार्थिंयों में केतु कलां की करुणा गुलेच्छा का नामकरण नवदीक्षिता रामकीर्तिश्री, शेरगढ़ की ही प्रवासी हाल छत्तीसगढ़ के अटरिया रोड की निवासी रही मुमुक्षु काजल नाहटा का नाम रामकेतुश्री, मुमुक्षु भाई वीरांश पितलिया, हैदराबाद का नाम रामवीर मुनि, मुमुक्षु श्रीमती संगीता पितलिया, हैदराबाद का नाम रामसेवा, मुमुक्षु निमिषा मांडोत, पानेठा, सूरत का नाम रामनेमी, मुमुक्षु जिया कोठारी, बैंगलोर का नाम रामज्योति नाम से आचार्य रामेश ने सभी दीक्षार्थीयों का नामकरण किया । उक्त अवसर पर आचार्य रामेश ने भीलवाड़ा के राजकीय प्राथमिक विद्यालय, आरसी व्यास कॉलोनी स्थित शिखर महोत्सव प्रवचन पंडाल में अपने प्रवचन में फरमाया कि साधुता मोक्ष का प्रवेश द्वार है। सम्यक दर्शन, सम्यक ज्ञान, सम्यक चारित्र ये तीनों मिलकर मोक्ष का मार्ग है। साधुता में आज भवी आत्मायें प्रवेश कर चुकी हैं। मुमुक्षु भाई बहन आज साधना के पथ पर आरूढ़ हो रहे हैं। यह दीक्षा प्रसंग सभी जनों में संयम की प्रेरणा जागृत करें। दीक्षा कार्यक्रम के पूर्व सभी 6 चारित्र आत्माओं का संघ द्वारा अभिनन्दन भी किया गया।दीक्षा देने से पूर्व आचार्य रामेश ने सदन में उपस्थित भीलवाड़ा संघ, राष्ट्रीय संघ उपस्थित सभी जनों से दीक्षा प्रदान करने में सहमति प्रदान करने हेतु हाथ खड़े कर स्वीकृति मांगी। उक्त अवसर पर उपाध्याय प्रवर राजेश मुनि एवं साधु साध्वीजन बड़ी संख्या में मौजूद रहे। उक्त अवसर पर साधुमार्गी जैन संघ से 200 सदस्यों एवं दूसरी और मुमुक्षु करुणा गुलेच्छा के केतु कलां, जोधपुर अन्य स्थानों से पारिवारिक जन आदि 300 की संख्या में उपस्थित रहे। सभा का संचालन राष्ट्रीय प्रवक्ता महेश नाहटा द्वारा किया गया।
