उडीसा, झारखंड, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, कर्नाटक, गुजरात, महाराष्ट्र जैसे राज्यों में सैकड़ों एटीएम लूटे, ट्रेन से फर्स्ट एसी और हवाई यात्रा कर वारदातों को देते अंजाम, पुलिस की साईक्लोनर टीम ने रेगिस्तान के धोरों में अकेले बात करते हुए पर रखी नजर, आर्थिक स्टेटस में आए बदलाव पर ध्यान केंद्रित किया, बड़े ही शातिर हैं फलोदी से पकड़े दोनों आरोपी
डीके पुरोहित. जोधपुर
पुलिस महानिरीक्षक रेंज जोधपुर विकास कुमार के निर्देशन में पुलिस की साईक्लोनर टीम ने अंतरप्रांतीय एटीएम लूट गैंग का पर्दाफाश कर फलोदी क्षेत्र से दो शातिर अपराधियों को गिरफ्तार किया है वहीं एक आरोपी हरियाणा क्षेत्र से अलग से पकड़ा गया है। पुलिस ने इस ऑपरेशन का नाम ऑपरेशन मुद्राराक्षस रखा है।
पुलिस महानिरीक्षक विकास कुमार ने बताया कि साईक्लोनर, टोरमैंडो व स्ट्रॉन्ग टीमों ने अद्भुत खुफिया सूचना के समन्वय से दो दुर्दान्त अपराधियों अब्दुल गनी पुत्र निजामुदीन उम्र 42 वर्ष जाति सिंधी मुसलमान निवासी जुनैया की ढाणी, लोर्डिया जिला फलोदी और हासमदीन पुत्र अलाबचाय खां उम्र 49 वर्ष जाति सिंधी मुसलमान निवासी मलार ढाणियां जिला फलोदी को गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त की। साथ ही एक अन्य अपराधी शाहरूख को हरियाणा के पुन्हाना में पकड़ा गया।
मुंबई पुलिस ने सूत्र दिए- अपराधी सरगना है, भाषा-पहनावे से मारवाड़ी है, बाकी काम साईक्लोनर टीम ने कर दिखाया
मुंबई पुलिस ने पुलिस महानिरीक्षक को जानकारी दी कि अपराधी सरगना है। उनकी भाषा और पहनावा मारवाड़ी है। अपराधियों के बारे में अन्य किसी प्रकार की जानकारी नहीं थी। मगर साईक्लोनर टीम को जो सूत्र दिए गए उसके बाद टीम ने जाल बिछाया। महानिरीक्षक विकास कुमार ने बताया कि साईक्लोनर, स्ट्रॉन्ग एवं टॉरमेडो टीम ने पूरी प्लानिंग से अपराधियों को पकड़ा। टीम ने मुम्बई सहित कई राज्यों की पुलिस से तरीका-ए-वारदात एवं एटीएम लूट की घटनास्थल के विस्तृत विवरण की जानकारी प्राप्त की। राज्यों की पुलिस से मिली जानकारी के बाद साईक्लोनर सेल टीम ने जोधपुर रेंज के ऐसे अपराधियों की जानकारी खंगाली जिनकी जीवन शैली में बहुत तेजी से बदलाव हो रहे हों।
रातों रात लखपति बनने वालों की ट्रेवल हिस्ट्री खंगाली, गतिविधियों पर नजर रखी
साईक्लोनर टीम ने ऐसे रातों रात लखपति बनने वाले अपराधियों की ट्रेवलिंग हिस्ट्री निकाली और टीम को महत्वपूर्ण जानकारी मिली भी। इसकी यात्रा विवरण में एक नम्बर फलोदी क्षेत्र के एक व्यक्ति के मिले जो लगातार ट्रेन की प्रथम एसी तथा हवाई यात्रा से कई राज्यों की यात्राएं कर चुका था। आरोपी के आमदनी के सोर्स पता करने पर कोई खास जानकारी नहीं मिली जिस पर आरोपी के सम्पर्क एवं कई महीनों तक आरोपी पर पैनी नजर रखती रही सोईक्लोनर टीम। आरोपी पर नजर रखने के दौरान आरोपी बहुत तेज धूप में दोपहर के समय में भी बात करने के लिए फलोदी के रेगिस्तान के धारों में दूर जाकर मोबाइल पर घण्टों बात करता था।
साईक्लोनर टीम ने इस पूरे मामले की जानकारी आईजीपी को दी। साईक्लोनर सेल को निर्देश मिलते ही साईक्लोर टीम ने सादा वस्त्रों में तथा कड़ी धूम में रेगिस्तान के धोरों में छिपकर लगभग तीन दिन तक आरोपी के आने जाने के समय एवं बात करते समय चलते रहने, बैठने इत्यादि की जानकारी प्राप्त की गई। साईक्लोनर टीम ने धोरों में वायरलेस सेट के जरिये मिले निर्देश पर आरोपी को पकड़ कर कई किलोमिटर पैदल ही लेकर आई जहां गाड़ी पहुंचना सम्भव नहीं हो पाई।
पकड़े गए तीनों अपराधी अंतरराज्यीय एटीएम गैंग के किंगपिन हैं
पकडे गए तीनों अपराधी अंतरराज्यीय एटीएम गैंग के किंगपिन हैं। उडीसा, झारखंड, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, कर्नाटक, गुजरात, महाराष्ट्र जैसे राज्यों में सैकड़ों एटीएम तोड़कर लूटने की बात सामने आई है। राजस्थान के दोनों अपराधियों पर कम से कम दो-दो दर्जन प्रकरण पूर्व से दर्ज हैं तथा दर्जनों मामलों में फरार चल रहे हैं। अब्दुल गनी पूर्व में शास्त्रीनगर पुलिस की गिरफ्त से भी फरार हो चुका है। इस मामले में गाड़ी और सामान के स्वामी को ज्यादा हिस्सा मिलता। 15-20 दिन की लगातार यात्रा में 7-8 एटीएम काटकर लूटकर आरोपी वापस लौटते थे। वे बड़े ही पेशेवर अंदाज में फिल्मी ढंग से वारदात करते थे। जोधपुर एवं मेवात के अपराधियों का मिलना राजस्थान की सीमा पर होता था। वहां से दो गाडियो में सवार होकर अपराधी एक रूट निर्धारित कर लंबी यात्रा पर निकल जाते। जिस राज्य से गुजरते वहां की नम्बर प्लेट गाडियों पर लगा लेते। रास्ते में गैस कटर खरीदते तथा टंकी, पाइप एवं आक्सीजन टैंक रास्ते की किसी वर्कशॉप से रात्रि में चुरा लेते। सुनसान एकांत में अवस्थित एटीम बूथ को चिन्हित कर दिन में एक बार व रात्रि में 12 बजे एक बार चैक करते । गार्डरहित एटीम बूथ पर पहुंचकर कैमरे पर ब्लेक स्प्रे कर देते। दो अपराधी गैस कटर लेकर एटीएम काटकर माल लाते, तीसरा गाडी में बैठता एवं चौथा सडक पर निगरानी रखता। छोटी गाडी से लूट अंजाम देने के बाद उसे बड़ी गाड़ी ट्रक में चढा देते एवं नम्बर प्लेट बदल देते। 200-300 किमी दूर जाकर माल का बंटवारा होता था। गाडी और सामान के स्वामी को ज्यादा हिस्सा मिलता। 15-20 दिन की लगातार यात्रा में 7-8 एटीएम काटकर लूटकर वापस लौटते थे।
कभी झारखण्ड, उडीसा, तेलंगाना कभी गुजरात, महाराष्ट्र, कर्नाटक कभी मध्यप्रदेश तेलंगाना आंध्रप्रदेश की दिशा में लूट की यात्रा सम्पन्न की जाती। करोडो रूपयों की लूट कर चुके हैं अपराधी। महाराष्ट्र, कर्नाटक, गुजरात की पुलिस टीमें पूछताछ के लिए जोधपुर पहुंच रही है। वाहन चोरी एवं ट्रक का सामान खुर्द बुर्द करने के मामलों को लेकर अपराध की दुनिया में प्रविष्ट हुए हैं दोनो अपराधी। माल खुर्द बुर्द करने के लिए फर्जी रजिस्ट्रेशन व कागजात के लिए मेवात के बदमाशों के भी संपर्क में आए। 7-8 साल पहले वहां से शुरू हुआ एटीएम लूट का सिलसिला। अपराधियों द्वारा वर्ष 1999 से 2021 तक गौवंश तस्करी, ट्रक चोरी, लूट, वाहन चोरी इत्यादि कई प्रकार की चोरी एवं लूट की वारदातों के पश्चात हरियाणा के नूंह एवं मेंवाती डकैत गैंग के संपर्क में आने पर छोटे मोटे वाहनो की चोरियां छोड़कर सीधे ही एटीएम का वारदातो को देने लगे अंजाम। राष्ट्रीय स्तर के एटीएम लूट गैंग के खुलासे के बाद कई राज्यों की पुलिस ने राहत की सांस ली है। पुलिस महानिरीक्षक विकास कुमार के पास कई राज्यों से बधाई के फोन आ रहे हैं। फिलहाल फर्जी कागजात एवं वाहन के साथ आरोपी के विरूद्व दर्ज प्रकरण में गिरफ्तार कर पुलिस पूछताछ कर रही है। सावधानी बरतने के लिए ये कुख्यात अपराधी राजस्थान एवं निकटवर्ती राज्यों हरियाणा में एटीएम लूट नहीं करते थे ताकि स्थानीय पुलिस की निगाहों से बचे रहें। दूरस्थ राज्यों की पुलिस नामजद करने के बावजूद हाथ डालने में सफल नहीं हो पाती थी।
सम्पूर्ण कार्यवाही में रेंज स्तरीय साईक्लोनर टीम के कन्हैयालाल उपनिरीक्षक पुलिस प्रभारी साईक्लोनर सेल, प्रमीत चौहान उपनिरीक्षक सहप्रभारी सेल, अशोक कुमार, सुरेंद्र कुमार, स्ट्राॅन्ग टीम से कांस्टेबल झूमरराम, जोगाराम (विशेष भूमिका), राकेश मय टीम की रही। पुलिस महानिरीक्षक ने टीम को विशेष शाबाशी दी है और समस्त टीमों को जोधपुर रेंज कार्यालय में सम्मानित किया जाएगा।
