(जैसा कि अनिल भारद्वाज ने राइजिंग भास्कर को बताया)
साहित्यिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक संस्था, कवि स्पर्श, साहित्य कुंज औरंगाबाद के तत्वाधान में मध्य प्रदेश ग्वालियर के वरिष्ठ गीतकार व हिंदी सेवी साहित्यकार अनिल भारद्वाज एडवोकेट को संत शिरोमणि तुलसीदास सम्मान 2024 से सम्मानित किया गया है।
गीतकार अनिल भारद्वाज को यह सम्मान संत शिरोमणि तुलसीदासजी की जयंती पर उत्कृष्ट रचना भक्ति पूर रचना लेखन के लिए प्रदत्त किया गया है। गीतकार अनिल भारद्वाज वरिष्ठ हिंदी सेवी एवं श्रेष्ठ साहित्यकार होकर हिंदी राष्ट्रभाषा पर आधारित , विश्व के प्रथम महाकाव्य, हिंदी के आंसू के रचयिता हैं। संगीत एवं कला के क्षेत्र में अनिल भारद्वाज चित्रकार, बांसुरी वादक हैं तथा आपने वायलिन में संगीत प्रभाकर की उपाधि प्राप्त की है तथा वर्तमान में उच्च न्यायालय ग्वालियर में वरिष्ठ अधिवक्ता हैं।
साहित्य के क्षेत्र में गीतकार अनिल भारद्वाज द्वारा सन् 1970 से निरंतर साहित्य सृजन करते हुए कई साहित्यिक कृतियां, साहित्य जगत को प्रदत्त की गईं, जिनमें गीत संग्रह” बीत गया मधुमास” (पुरस्कृत कृति ), “हिंदी के आंसू ” ( हिंदी पर आधारित विश्व का प्रथम महाकाव्य), तथा” हिंदी माता चालीसा “(भक्ति काव्य), आदि प्रकाशित कृतियां उल्लेखनीय हैं। तथा कई साझा संकलनों में गीत, गजल आदि का प्रकाशन। राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय सम्मान,अभिनंदन एवं उपाधि। उपाधि-अभिनंदन-सम्मान- नेपाल,भारत,यू एस तथा तंजानिया के रचनाकारों में से गीतकार अनिल भारद्वाज को लुंबिनी,नेपाल की संस्था रचनाकारों में से,प्रथम श्रेणी में चयन किया,एवं महिला शक्ति काव्य रत्न,की मानद उपाधि प्रदान की गई है,गणतंत्र के प्रहरी सम्मान 2024, सृजन के सारथी, देश प्रेमी सम्मान, वीर रस सम्मान 2024, ,हनुमान जन्मोत्सव पर,श्रेष्ठ रचना सृजन सम्मान 2023, अंतर्राष्ट्रीय कला एवं साहित्य सम्मान 2023, हिंदी दिवस के उपलक्ष में, हिंदी सेवी सम्मान, विश्व हिंदी दिवस के उपलक्ष में गीतकार अनिल भारद्वाज को देश के चुनिंदा 551 हिंदी सेवियों में हिंदी दिवस के उपलक्ष में हिंदी सेवी सम्मान, काव्य कला सेवा संस्थान द्वारा,सृजन श्री सम्मान सम्मान 2023, हनुमान जन्मोत्सव पर श्रेष्ठ रचना सृजन सम्मान 2023, अंतर्राष्ट्रीय कला एवं साहित्य सम्मान 2023, वीर रस सम्मान 2024, श्रेष्ठ रचनाकार सम्मान, गणतंत्र प्रहरी सम्मान, देश प्रेमी सम्मान, 2024, श्रेष्ठ रचनाकार सम्मान, लोकप्रिय साहित्य सम्मान 2023 ,भंडारी साहित्य शिरोमणि सम्मान 2023, काव्य कौस्तुभ सम्मान 2024, हनुमंत भक्त सम्मान 2024, रविंद्रनाथ टैगोर की जयंती पर अंतरराष्ट्रीय कला एवं साहित्य सम्मान 2024 आदि से सम्मानित किया जा चुका है।
विशिष्ट उपलब्धियां– वरिष्ठ हिंदी सेवी साहित्यकार, विश्व के प्रथम हिंदी माता मंदिर की, ग्वालियर, मध्य प्रदेश में स्थापना युवा अभिभाषक मंच से सन् 1995 में कराई गई। इस अवसर पर आपकी आवाज के संपादक पंकज करन, उदित भास्कर के संपादक दिलीप पुरोहित, दबंग पब्लिक प्रवक्ता के संपादक आनंद शर्मा, जीरो माइल साप्ताहिक पोर्टल और खबरों में अपना शहर के संपादक आनंद पांडेय, श्रम साधना के संपादक महेश तायल फौजी, बेजोड़ रत्न के संपादक कुलदीप अवस्थी, जीवन केसरी के संपादक एस के तिवारी, सत्यास्त्र के संपादक राजेश अवस्थी लावा, उच्च न्यायालय संघ ग्वालियर के अध्यक्ष पवन पाठक, अंतर्राष्ट्रीय अभिभाषक मंच के अध्यक्ष विजय सिंह चौहान, एवं हिंदीमाता काव्य धारा मंच भारत के पदाधिकारीगण उमाशंकर द्विवेदी, संजय निगम, अभिभाषक गण, बलदेव पाठक, सहित ग्वालियर की साहित्यक एवं सामाजिक एवं सांस्कृतिक संस्थाओं के साथ ही कवि अशोक बिरथरिया, संगम त्रिपाठी संस्थापक प्रेरणा हिंदी प्रचारिणी सभा ने गीतकार अनिल भारद्वाज को हार्दिक बधाई दी है।
